सभी बाधाओं से पूर्ण सुरक्षा, शांति एवं सम्पूर्ण सफलता पर डॉ. वसंतविजयजी म.सा. के विचार 11 को
इंदौर। विश्वशांति दूत, राष्ट्रसंत, विश्वविख्यात कृष्णगिरी धाम के पीठाधिपति, यतिवर्य डॉ. वसंतविजयजी म.सा. ने शुक्रवार को कहा कि भगवान ने इस संसार में व्यक्ति के लिए बीतने वाले सुख-दु:ख उसके कर्मों के अनुसार ही बनाए है। हमें इस जन्म में परिवार के सदस्य के रुप में मिले माता-पिता, पति-पत्नि, भाई-बहन तथा बच्चों का भी सुख मिला है तो वह भी हमारे कर्मों का ही फल है।
उन्होंने हृींकारगिरी तीर्थ धाम में दिव्य भक्ति चातुर्मासिक प्रवचन में कहा कि कर्मों के अनुसार ही हमें हमारे रिश्तेदार, पड़ौसी, जानवर, पक्षी सम्पर्क में आ पाते हैं। इसके लिए हमें निरंतर पुण्य कर्मों को करते रहना चाहिए ताकि अगले जन्म में भी हम कर्मों के अनुसार ही अच्छा सुख भोग सकें।
डॉ. वसंतविजयजी म.सा. ने यह भी कहा कि यदि व्यक्ति को इस जन्म में अच्छा सुख मिला है तो उसे यह समझ लेना चाहिए कि पिछले जन्म में उसके द्वारा ज्यादा से ज्यादा पुण्य कर्म हुए है तभी सुख मिला है और यदि दु:ख मिले तो समझ लेना चाहिए कि जरुर पिछले जन्म में हमने पाप किए होंगे जो हमें यह दिन देखना पड़ रहा है। इसलिए व्यक्ति को अच्छे कर्म करते रहना चाहिए और उन्हीं कर्मों के आधार पर वह भाग्य को अच्छा बना सकता है।
उन्होंने कहा कि गरीबों की मदद करना, उसे अच्छा रास्ता दिखाने की प्रेरणा देने से भगवान का आशीर्वाद भी मिलता है। ट्रस्टी विजय कोठारी व वीरेंद्र कुमार जैन ने बताया कि इससे पहले सुबह के सत्र में शुक्रवार को संतवज्रतिलक जी की निश्रा में प्रतिक्रमण व सामूहिक भक्तामर मंत्र जाप किया गया। उन्होंने बताया कि धाम में ही प्रतिष्ठापित मूलनायक परमात्मा पार्श्वनाथजी की प्रतिमा का विधिकारक हेमंत वेदमूथा मकशी द्वारा 50 दिवसीय 18 अभिषेक शुक्रवार को भी जारी रहा।
सभी बाधाओं से पूर्ण सुरक्षा, शांति एवं सम्पूर्ण सफलता पर डॉ. वसंतविजयजी म.सा. के प्रवचन 11 को
इंदौर। सिद्ध साधक पूज्य गुरुदेव डॉ. वसंतविजयजी म.सा. की अमृतमय वाणी में रविवार, 11 अगस्त को हृींकारगिरी तीर्थ धाम में दोपहर 3 बजे से ‘सभी बाधाओं से पूर्ण सुरक्षा, शांति एवं सम्पूर्ण सफलता कैसे पाएं’ पर रविवारीय विशेष प्रवचन होंगे। ट्रस्टी जय कोठारी ने बताया कि पूज्य गुरुदेव की दुर्लभ साधनाओं से प्राप्त ज्ञान के रहस्य का द्वार रविवार को हृीकारगिरी तीर्थ धाम में खुलेगा। उन्होंने बताया कि प्रवचन पश्चात् स्वामी वात्सल्य (भोजन) पर भी श्रद्धालू आमंत्रित है।
बेंगलूरु से 12 को व 15 अगस्त को चेन्नई से आएगा गुरुभक्तों का संघ ह्रींकारगिरी
इंदौर। यहां के श्री नगीनभाई कोठारी चेरिटेबल ट्रस्ट ह्रींकारगिरि तीर्थ धाम के तत्वावधान में कृष्णगिरि पीठाधिपति, यतिवर्य डाॅ.वसंतविजयजी म.सा. की निश्रा में दिव्य भक्ति चातुर्मास पर्व में प्रतिदिन देश-विदेश से श्रद्धालु दर्शन-वंदन एवं प्रवचन श्रवण हेतु आ रहे हैं। इसी क्रम मेें आगामी 12 अगस्त को बेंगलूरु व 15 अगस्त को चेन्नई से गुरुदर्शन संघ यहां आएगा। बेंगलरु से राजस्थान संघ कर्नाटका के फाउण्डर चेयरमैन रमेश मेहता के नेतृत्व में तथा चेन्नई से केशरसिंह राजपुरोहित के नेतृत्व में अनेक गुरुभक्त इंदौर पहुंचेंगे।