Share This Post

Featured News / Featured Slider / ज्ञान वाणी

अनाशक्ति की चेतना का जागरण है प्रत्याख्यान : मुनि सुधाकर

अनाशक्ति की चेतना का जागरण है प्रत्याख्यान : मुनि सुधाकर

आवस्स्यं सुत्र पर आधारित व्याख्यानमाला का समापन

माधावरम्, चेन्नई ; श्री जैन श्वेतांबर तेरापंथ माधावरम् ट्रस्ट, चेन्नई के तत्वावधान में आवस्स्यं सुत्र पर आधारित व्याख्यानमाला के आखिरी दिन मुनि श्री सुधाकरजी ने प्रत्याख्यान विषय पर धर्म सभा को संबोधित करते हुए कहा, षडावश्यक में प्रत्याख्यान का स्थान सुमेरु का स्थान हैl जिन अतिचारो की शुद्धि आलोचना, प्रतिक्रमण और कायोत्सर्ग द्वारा नहीं होती, उनकी शुद्धि प्रत्याख्यान से हो जाती हैl आत्मशुद्धि को सुरक्षित रखने के लिए प्रत्याख्यान आवश्यक है, प्रत्याख्यान से साधक के अतीत का परिष्कार होता हैl वर्तमान का संवरण होता है और भविष्य के लिए वह संकल्पबद्ध होता हैl प्रत्याख्यान से अध्यवसाय, भाव, आभामंडल और पर्यावरण शुद्ध बनते हैl प्रत्याख्यान एक चिकित्सा पद्धति है, जिससे आशा, तृष्णा, लोभादि विकृतियों को दूर किया जा सकता हैl आत्मा को दूषित करने वाले विजातीय तत्वों को प्रत्याख्यान की साधना से बचाया जा सकता हैl आत्मा के निकट पहुंचने का राजमार्ग है प्रत्याख्यान।

मुनि श्री ने आगे कहा कि जो छोड़ना जानता है, वही प्रत्याख्यान की साधना कर सकता है। अनाशक्ति की चेतना के जागरण से ही प्रत्याख्यान की साधना संभव हैl हमें मूर्छा के भाव को तोड़ने का प्रयास करना चाहिएl मूर्छा बंधन का सबसे बड़ा कारण हैl इससे घोर कर्मों का बंधन होता हैl हमें आहार संयम, इंद्रिय संयम, योग संयम, उपाधि संयम, मित्रा संयम का अभ्यास करना चाहिएl मुनिश्री ने दस प्रत्याख्यान का विस्तार से विवेचन करते हुए कहा कि हर व्यक्ति को संयम से परिपूर्ण जीवन शैली का अभ्यास करना चाहिएl संयम एवं प्रत्याख्यान से साधना में तेजस्विता आती हैl वैराग्य की वृद्धि होती हैl समस्याओं का समाधान मिलता हैl छह: आवश्यक हमारी आत्म शुद्धि के लिए, आत्म विकास के लिए विशेष योगभुत हैl इनकी हमें प्रतिदिन साधना करनी चाहिएl

श्रीमती वंदना पूनमिया ने मुनि श्रीजी से 68वें एकासन का प्रत्याख्यान कियाl तपस्वी बहन का सम्मान श्रीमती संतोष डूंगरवाल ने कियाl कार्यक्रम का संचालन प्रवीण सुराना ने करते हुए बताया कि रविवार को विध्न विनायक दुख हर्ता सुख कर्ता – हम कैसे बने, इस पर मुनिश्री का जय समवसरण माधावरम् में प्रातः 9:30 बजे से 10:30 बजे तक विशेष प्रवचन रहेगाl

Share This Post

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You may use these HTML tags and attributes: <a href="" title=""> <abbr title=""> <acronym title=""> <b> <blockquote cite=""> <cite> <code> <del datetime=""> <em> <i> <q cite=""> <s> <strike> <strong>

Skip to toolbar