*🌧️विंशत्यधिकम्*
*📚📚📚श्रुतप्रसादम्🌧️*
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3️⃣2️⃣
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*देह में*
*ममत्व बुद्धि*
*आर्तध्यान का कारण है.!*
⛓️
आत्मा के साथ
संयोग से जुड़ा हुआ
देह भी आत्मा से भिन्न है,
तो फिर बाकी पदार्थो
अपने कैसे हो सकते है.!
🧘♂️
देह से आत्मा की
भिन्नता को जो जानता है,
उसी को समाधि प्राप्त होती है.!
*_📗श्री भाव कुलक📗_*
🌷
*तत्त्वचिंतन:*
*सूरि जयन्तसेन चरण रज*
मुनि श्रीवैभवरत्नविजयजी म.सा.
*🦚श्रुतार्थ वर्षावास 2024🦚*
श्रीमुनिसुव्रतस्वामी नवग्रह जैनसंघ
@ कोंडीतोप, चेन्नई महानगर