अखिल भारतीय तेरापंथ युवक परिषद के तत्वावधान में तेरापंथ युवक परिषद् बालोतरा ने न्यू तेरापंथ भवन में मुनि श्री मोहजीत कुमारजी के सान्निध्य में जैन संस्कार विधि से रक्षाबंधन कार्यशाला का आयोजन किया। मुख्य संस्कारक श्री पुष्पराजजी कोठारी ने सहयोगी संस्कारक श्री रमेशजी भंसाली ने साथ मिलकर रक्षाबंधन को जैन संस्कार विधि से जैन मंत्रोच्चार द्वारा विधिवत रूप से मनाया गया।
परिषद के अध्यक्ष संदीप ओस्तवाल ने बताया की अखिल भारतीय तेरापंथ युवक परिषद की 355 शाखाएं पूरे देश मे जैन संस्कार विधि जन जन की विधि बने इस ओर प्रयासरत है। रक्षाबंधन कार्यशाला में 52 भाई बहन के जोडों ने भाग लिया। संस्कारक पुष्पराजजी कोठारी ने कहा कि जैन संस्कार विधि वर्तमान समय की मांग है। इसमे बाहरी आडंबर,फिजूलखर्ची एवं हिंसा के अल्पीकरण पर विशेष ध्यान जाता है। तेयुप मंत्री नवनीत बाफना ने बताया कि किसी भी मांगलिक प्रसंग या त्योहार को सादगी से जैन मंत्रोच्चार के साथ मनाया जाने वाला यह महनीय उपक्रम है।इस माध्यम से संस्कारक जैन मान्यताओ को भी जन जन तक पहुचाने का कार्य करते है।
मुनि श्री मोहजीत कुमारजी ने अपने मंगल उद्बोधन में फरमाया कि ग्रहस्थ जीवन में जैन संस्कार विधि श्रावक समाज को अनावश्यक हिंसा व बाहरी आडंबर से बचा सकती है। मुनिश्री ने आगे बताया कि रक्षाबंधन पर्व सांसारिक पर्व होते हुए भी उसमें आध्यात्मिकता के रूप में जैन संस्कार विधि से इसका आयोजन बहुत महत्वपूर्ण बात है। मेरे जीवन में भी पिछले 49 वर्ष के संयम पर्याय में यह दूसरा अवसर है जब मेरी संसारपक्षीय बहन यहां उपस्थित है यह अपने आप में एक नई बात है मुनि श्री जयेश कुमार जी ने अपनी बहन निधि को तथा उपस्थित सभी भाई बहनों के जोड़ों को अपने बचपन को वापस जीने की प्रेरणा प्रदान की मुनि श्री कि संसारपक्षीय बहनों ने आध्यात्मिक मंगल कामना के साथ मौली का धागा राखी में राखी रूप में मुनि श्री को उपहृत की। उससे पहले मुनि श्री जयेश कुमार जी की संसारपक्षीय बहन निधि बरलोटा ने अपने भाई के प्रति गीत “स्नेह भरा भाई बहनों का आया है त्यौहार” का संगान किया।
रमेश जी भंसाली ने उपस्थित श्रावक समाज को रक्षाबंधन जैन संस्कार विधि से मनाने का आह्वान किया।तेयुप कोषाध्यक्ष सुनील लूणिया ने आभार ज्ञापन दिया और इस आयोजन को सफल बनाने में तेयुप टीम एवं किशोर मण्डल ने बहुत महत्वपूर्ण योगदान दिया। ये सारी जानकारी तेयुप मीडिया प्रभारी नवीन सालेचा ने दी।