श्री वर्धमान स्थानकवासी जैन संघ कम्मनहल्ली अध्यक्ष: विजयराज चुत्तर, मंत्री: हस्तीमल बाफनाl
श्री वर्धमान स्थानकवासी जैन संघ कम्मनहल्ली में कर्नाटक तप चंद्रिका प.पू. आगमश्रीजी म.सा. ने तप का महत्व बताया। तप आत्मा को नहीं आत्मा के शत्रुओं को तपाता है। इस साधना द्वारा अष्टविध कर्म मेल से मुक्त होता है। व्याधि सा शरीर कुंदन सा मनोहर बन जाता है। धन दौलत पुत्र परिवार को छोड़ना सरल है पर जीभ के स्वाद को छोड़ना कठिन है।
प.पू. धैर्याश्रीजी म.सा. ने बताया सफल वह इंसान है जिसने अपने धन से लोगों की मदद करके दुआओं की दौलत इकट्ठी करली, अपना खजाना भर लिया, वही ऐश्वर्यवान है। सुनीता नरेंद्रजी पोकरणा इनके ग्यारह उपवास के प्रत्याख्यान हुए। निरंतर तेले की कड़ी चालू है। अध्यक्ष विजयराज चुत्तर ने स्वागत किया। मंत्री हस्तीमल बाफना ने संचालन किया।