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जीवन में धर्म लाभ कमाएं, दया पालें : राष्ट्रसंत डॉ वसंतविजयजी म.सा.

जीवन में धर्म लाभ कमाएं, दया पालें : राष्ट्रसंत डॉ वसंतविजयजी म.सा.

कृष्णगिरी तीर्थधाम में लिफ्ट निर्माण के लिए 21 लाख रुपये की सहयोग राशि की घोषणा

राष्ट्रसंतश्रीजी को ओढ़ाई आधार की चादर

इंदौर। विश्व विख्यात कृष्ण गिरी शक्तिपीठाधीपति, राष्ट्रसंत डॉ वसंतविजयजी म.सा. ने कहा कि व्यक्ति की जीवन शैली को उसके शुद्ध सकारात्मक विचारों से ही बदला जा सकता है, इसके लिए अवचेतन मन की प्रोग्रामिंग होनी आवश्यक है।

उन्होंने कहा जैन-अजैन व छोटा-बड़ा आदि भेद व्यक्ति की मानसिक सोच है। मनुष्य भव सुख समृद्धि पाने के लिए हुआ है इसलिए इस जीवन में हमें धर्म-पंथ के भेद मिटाकर पवित्र, शाकाहार व ईमानदार बने रहकर ही धर्म लाभ को कमाना होगा व दया पालनी होगी।

वे बुधवार शाम यहां फूटी कोठी स्थित श्रीजी वाटिका में अपने इस वर्ष के अंतिम चातुरमासिक संदेश के तहत आशीर्वाद प्रवचन दे रहे थे। गत दिनों श्री नवरात्रि दिव्य आराधना भक्ति महामहोत्सव के तत्वावधान में मध्य प्रदेश के इतिहास में संपन्न हुए पहली बार बगैर डांडिया के मां भक्ति के आराधना पर्व के ऐतिहासिक रूप से समापन पर सभी सेवाभावी कार्यकर्ताओं की अनुमोदना भी की गई।

इस अवसर पर महा महोत्सव समिति इंदौर द्वारा आयोजन के खर्च के ब्योरे सहित शेष रही सहयोग राशि को कृष्णगिरी में निर्माणाधीन धर्मशाला के लिए लिफ्ट हेतु इक्कीस लाख इक्कीस हजार एक सौ ग्यारह रुपये प्रदान करने की घोषणा भी की गई। यह घोषणा अध्यक्ष अभय बागरेचा द्वारा की गई।

संतश्रीजी ने कहा कि मनुष्य वर्षों से वर्गवादी रहा है हमें एक सच्चे गुरु भक्त के रूप में परस्पर समन्वय कायम करते हुए बगैर राग द्वेष व निंदा स्तुति के एकजुटता को बरकरार रखना है। प्रसंगवश एक जीवन दृष्टांत बताते हुए डॉ वसंतविजयजी ने कहा कि जो आंख बंद करके पूर्ण विश्वास एवं समर्पित भाव से गुरु भक्ति करता है, परमात्मा उसके भाग्य को संवारने के लिए अपनी आंखें खोल देते हैं।

इस अवसर पर उन्होंने एक-एक सेवाभावी कार्यकर्ताओं को आशीर्वादी अनुमोदना के साथ अपनी विशिष्ट साधना-आराधना सिद्ध किया हुआ अभिमंत्रित समृद्धिदायक चंदन भी प्रदान किया। गुरुभक्त सुश्री जाह्नवी अजय कटारिया द्वारा संतश्री को स्वयं द्वारा बनाई गई ऑयल पेंटिंग फ्रेम भी भेंट की गई।

साथ ही महामहोत्सव समिति द्वारा डॉ वसंतविजयजी को आदर की चादर ओढाई गई। महोत्सव समिति के अध्यक्ष अभय बागरेचा ने गीतिका के माध्यम से अपनी अभिव्यक्ति दी।

इस अवसर पर वीरेंद्र जैन, डॉक्टर सुनील मंडलेचा, वीरेंद्र मेहता, अरविंद बांठिया, तरुण सेठिया, कुमार कोठारी, अजय कटारिया, पंकज जैन, नरेंद्र जैन, पवन चौरसिया, कमलेश अग्रवाल, पंकज कटकानी, अनिल चोधरी, सतीश दोषी, नितेश जैन, राजकुमार ढ्ढ़ा, प्रमिला शैलेंद्र जैन, रेखा जैन, सुनील आच्छा, हंसमुख भाई, विधिकारक रत्नेश मेहता, सुनील मरलेचा, निलेश गुप्ता, अमन मिश्रा सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता व समिति पदाधिकारी गण मौजूद रहे। सभी का आभार रितेश नाहर ने जताया।

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