‘गुरु गणेश’ की महाप्रसादी में उमड़े हजारों लोगों ने किया भोजन
बेंगलूरु। यहां मैसूर बैंक सर्कल-श्री हनुमानजी मंदिर के समीप श्रीगुरु गणेश सेवा समिति कर्नाटक एवं जैन फ्रेण्ड्स एसोसिएशन के संयुक्त तत्वावधान में चोतीसवां अमावस्या महाप्रसादी-अन्नदानम् का कार्यक्रम गुरुवार को आयोेजित हुआ।
समिति के अध्यक्ष गौतमचंद धारीवाल ने बताया कि रतनलाल रमेशचंद पवनकुमार रुपेशकुमार सिसोदिया परिवार के सौजन्य से आयोजित महाप्रसादी में करीब 4500 से अधिक जरुरतमंदों ने भोजन किया। इस अवसर पर जैन दिवाकरीय शासन सिंहनी साध्वीश्री डाॅ.कुमुदलताजी व साध्वीश्री डाॅ.पद्मकीर्तिजी ने पहुंचकर मांगलिक प्रदान की।

साध्वीवृंद ने बेहद प्रसन्नता के साथ समिति की टीम की अनुमोदना करते हुए कहा कि कलयुग में धर्म के चारों पदों में से केवल दान ही प्रभावी है, इसलिए अपनी सामर्थ्य के अनुसार जरुरतमंद अथवा भूखे प्राणी को भोजन कराने से कर्ज का नाश होता है।
अन्नदान के महत्व पर प्रकाश डालते हुए साध्वीश्री ने कहा कि शास्त्रों के अनुसार दुनिया का सबसे बड़ा दान अन्नदान को बताया गया है।
उन्होंने कहा कि यह संसार अन्न से ही बना है और अन्न की सहायता से ही इसकी रचनाओं का पालन हो रहा है। साध्वीश्री ने कहा कि एकमात्र अन्न ही ऐसी वस्तु है जिससे शरीर के साथ-साथ आत्मा भी तृप्त होती है। डाॅ.कुमुदलताजी ने कहा कि अन्न जीवन और मृत्यु पर्यंत भी हमारी आत्मा की संतुष्टि के लिए आवश्यक है। साध्वीश्री ने यह भी कहा कि अन्नदान का पुण्य कर्जनाश का सबसे अच्छा उपाय है।
उन्होंने इस आयोजन के सहभागी गौतमचंद धारीवाल एवं सिसोदिया परिवार व सभी की अनुमोदना करते हुए आशीर्वादी मांगलिक प्रदान की। समिति के हाल ही संपन्न हुए चुनाव में सर्वसम्मति से अध्यक्ष बने धारीवाल के अध्यक्षीय कार्यकाल के प्रथम अन्नदान कार्यक्रम में मंत्री निर्मल गुलेच्छा, प्रकाशचंद बंब, विजयराज लुणिया, अशोक रांका, गुलाबचंद पगारिया, धर्मेंद्र मरलेचा, चेतन दरड़ा, विनोद चोरड़िया, नथमल मूथा, प्रकाशचंद बाफना, मनोहर बाफना, विनोद गोलेच्छा, शेखर व मंजूनाथ राव सहित अनेक लोगों ने सेवा सहयोग में योगदान दिया।